समीक्षा न्यूज --बृजेश श्रीवास्तव
वर्तमान में देश के सामने जितनी भी समस्याएं हैं जैसे बेरोजगारी, भुखमरी, स्वास्थ्य, अपराध, सब को शिक्षा आदि उनमें सबसे बड़ी समस्या देश की बढ़ती जनसंख्या है। सभी समस्याओं के मूल में यही एक कारण विद्यमान है। यदि हम बढ़ती जनसंख्या को नियंत्रित कर लें तो फिर बाकी सभी समस्याएं आसानी से हल हो जाएंगी। इसके विपरीत हम बाकी समस्याओं के समाधान में जितना भी जूझ लें, यदि जनसंख्या नियंत्रित नहीं कर सके तो बाकी समस्याएं बार बार उठ खड़ी होंगी।
प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भी इस समस्या की गंभीरता को लेकर सजग होने की बात कही है। वास्तव में अब समय आ गया है कि प्राथमिकता देते हुए जल्द से जल्द देश में सख्त जनसंख्या नियंत्रण कानून लागू हो। ज़्यादातर लोगों की राय है कि दो से अधिक बच्चे हों तो ऐसे माता पिता का वोट देने का अधिकार खत्म होना चाहिए और उन्हें कोई भी सरकारी सुविधा ना मिले। पर गहराई से सोंचे तो ऐसा कानून लागू होने के बाद भी देश पर एक बड़ा खतरा मंडराता रहेगा। एक वर्ग विशेष का बहुत तेजी से लगातार अपनी संख्या बढ़ाने से देश में असंतुलन की स्थिति पैदा हो रही है जो अगले दस, पंद्रह वर्षों में विस्फोटक स्थिति में पहुँच जाएगी। देश के नौ राज्यों की तरह बाकी राज्यों में भी हिन्दू अल्पसंख्यक हो जाएंगे। इतिहास गवाह है तब उस स्थिति में देश के सारे कानून धरे के धरे रह जाएंगे।
इसलिए देश को विचार करना होगा कि सिर्फ सरकारी सुविधाओं से वंचित करने या वोट का अधिकार खत्म करने से खतरा समाप्त नहीं होगा। देश के हित में सख्त जनसंख्या नियंत्रण कानून जल्द से जल्द लागू हो और उसमें दो से अधिक बच्चे वाले परिवारों को जुर्माना या सजा का प्रावधान भी हो।
बृजेश श्रीवास्तव
पत्रकार
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