साहिबाबाद। लोक शिक्षण अभियान ट्रस्ट द्वारा ज्ञानपीठ केन्द्र 1, स्वरुप पार्क जी0 टी0 रोड साहिबाबाद के प्रांगण में मूर्धन्य विद्वान, बेजोड़ अर्थशास्त्री, शिक्षाविद भारत के पूर्व प्रधानमंत्री डा0 मनमोहन सिंह का “स्मृति दिवस” आयोजित किया गया, उनके विलक्षण व्यक्तित्व और कृतित्व को स्मरण कर, चित्र पर श्रद्धा-सुमन अर्पित कर उनके सम्मान में गगन-भेदी नारे लगाये गये। यह कार्यक्रम लोक शिक्षण अभियान ट्रस्ट के संस्थापक/अध्यक्ष समाजवादी विचारक शिक्षाविद राम दुलार यादव के नेतृत्व में आयोजित किया गया, राजेन्द्र सिंह, हुकुम सिंह ने उनके सम्मान में भजन सुनाया। सभी साथियों ने डा0 मनमोहन सिंह के चित्र पर पुष्प अर्पित कर उन्हें स्मरण करते हुए उनकी ईमानदारी, नैतिक आचरण, मृदुभाषिता, सरलता और सादगी के सन्देश को जन-जन तक पहुँचाने का संकल्प लिया, स्मृति दिवस कार्यक्रम को राम प्यारे यादव, चन्द्रबली मौर्य, जय नारायण शर्मा, कृष्णा यादव, के0 सी0 शास्त्री, जगतार सिंह भट्टी, शिक्षाविद कैलाश चन्द ने भी संबोधित किया, सञ्चालन अनिल मिश्र ने किया।
स्मृति दिवस कार्यक्रम को संबोधित करते हुए शिक्षाविद राम दुलार यादव ने कहा कि डा0 मनमोहन सिंह सादगी, सरलता, ईमानदारी, कर्तव्यपरायणता की मिसाल थे, उन्होंने देश को आर्थिक मंदी से निकाल मध्यम वर्ग की विशाल फ़ौज तैयार की, उनके प्रयास से भारत का नाम विश्व में सम्मान पूर्वक लिया जाने लगा। विश्व भारत की ओर देखने लगा, उन्होंने केवल आर्थिक उदारीकरण ही नहीं किया बल्कि सामरिक क्षेत्र में भी परमाणु समझौता कर अपनी दूरदर्शिता का लोहा मनवाया, मनरेगा जैसी योजना देकर गांवों में रोजगार के अवसर कमजोर वर्गों को प्रदान किया, जिससे मध्यम वर्ग, कमजोर वर्ग की जेब में रूपया आया, और बाजार में तरलता आयी, आधार कार्ड, भोजन और सूचना का अधिकार डा0 मनमोहन सिंह ने ही देश को दिया, आज सूचना के अधिकार को कमजोर कर दिया गया है, डा0 मनमोहन सिंह ने भारत की बिगड़ी अर्थव्यवस्था को सुधारने का भागीरथ प्रयास किया, और सफलतम प्रधानमंत्री के रूप में उनका नाम गर्व से लिया जाता है, जब देश में नोटबंदी , जी0एस0टी0 लागू हुई तो उनका कहना था कि यह वैध लूट है, और प्रधानमंत्री के बारे में पूंछने पर कहा कि “वह देश के लिए विद्धन्शक साबित होंगे। डा0 मनमोहन सिंह को कहा जाता था कि वह मौनी है, लेकिन यह भ्रामक प्रचार उनकी छवि को धूमिल करने के लिए था। उन्होंने अपने शासन काल में देश-विदेश में सवालों के जबाब देने के लिए लगातार प्रेस को संबोधित किया, उन पर कई तरह के आरोप लगाये गये, लेकिन उन्होंने उसका जबाब सभ्यता से दिया तथा कहा कि इतिहास हमारे साथ दयालुता दिखायेगा। मनमोहन सिंह ने कहा था कि नोटबंदी से 2.5 % जी0डी0पी0 कम हो जाएगी, वह भी सही साबित हुई, उसी कारण देश में मंहगाई, बेरोजगारी 45 साल के निचले स्तर पर आ गयी है।
पूर्व प्राचार्य डा0 विशन लाल गौड़ ने कहा कि डा0 मनमोहन सिंह भारत माता के बहादुर सपूत रहे, जिन्होंने ग्रामीण परिवेश से निकल आर्थिक विपन्नता में अपने साहस, अनुशासन, कठिन परिश्रम से विदेश में शिक्षा प्राप्त कर अनेकों पदों पर रह भारत के लोगों की सेवा किया, वित्तमंत्री और प्रधानमंत्री के रूप में उन्होंने अर्थव्यवस्था को विश्वपटल पर सम्मान दिलाया, अमेरिका के राष्ट्रपति भी उनके वक्तव्य से प्रभावित थे, बराक ओबामा ने कहा है कि जब मनमोहन सिंह बोलते है, तो पूरा विश्व सुनता है, आज स्थिति यह है कि आंकडे भी झूठे दिये जा रहे है, हम अर्थव्यवस्था को कम ही जानते है, लेकिन इतना समझते है कि लोगों को भ्रम में रखा जा रहा है, मनमोहन सिंह को सच्ची श्रद्धांजलि उनके व्यक्तित्व, कृतित्व से शिक्षा लेकर दी जा सकती है।
कार्यक्रम में प्रमुख रूप से शामिल रहे, राम दुलार यादव, डा0 विशन लाल गौड़, डा0 देवकर्ण चौहान, जगतार सिंह भट्टी, परविंदर सिंह, के0 सी0 शास्त्री, जय नारायण शर्मा, वीरेन्द्र यादव एडवोकेट, सम्राट सिंह, राम प्यारे यादव, ओम प्रकाश अरोड़ा, चन्द्रबली मौर्य, नितेश माथुर, अंशु ठाकुर, मोहम्मद सलाम, बाल करन यादव, महेन्द्र यादव, देवमन यादव, कृष्णा यादव, बैजनाथ रजक, राजेन्द्र सिंह, ब्रह्म प्रकाश, मुनीव यादव, हरेन्द्र यादव, एस0 एन0 जायसवाल, एस0 एन0 अवस्थी, विजय मिश्र, गुड्डू यादव, धर्मेन्द्र यादव, राधेश्याम त्यागी, अखिलेश कुमार शुक्ल, हुकुम सिंह, नागेन्द्र मौर्य, कैलाश चन्द, वीर सिंह सैन, ताहिर हुसैन, हरिकृष्ण, अमर बहादुर, सुभाष यादव, रोहित यादव, सुरेन्द्र यादव, दिलीप कुमार, शिवम् पाण्डेय, विकास कुमार, अनिल मिश्र आदि।
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